दूसरो पर आरोप लगाने से अपने अपराध कम नहीं हो जाते है छाबड़ा जी- किशुन यदु
Rajnandgaon-भाजपा पार्षद किशुन यदु ने कांग्रेस के वरिष्ठ चार बार के पार्षद कुलबीर छाबड़ा के द्वारा मधुसूदन यादव को लेकर दिए गए बयान की निंदा करते हुवे इसे शर्मनाक बताया। उन्होंने आगे कहा कि उन्हें कांग्रेस के वरिष्ठ नेता कुलबीर छाबड़ा से ऐसे हास्यास्पद बेतुके ओछे स्तर के असंगत बयानबाजी की आशा नहीं थी। जीवन भर निगम की राजनीति तक सीमित रहने वाले कांग्रेसी नेता श्री छाबड़ा की संकीर्ण एवं सीमित मानसिकता का परिचायक है यह बयान। पूर्व सांसद मधुसूदन यादव द्वारा अपने बयान में और कांग्रेस पार्टी पर एवं प्रदेश में चार सालों से सत्तासीन भूपेश सरकार पर जो आरोप लगाए गए हैं उनके संबंध में श्री छाबड़ा ने अपने बयान में कहीं भी उन आरोपों का खंडन नहीं किया है और ना ही कांग्रेस सरकार की विफलता को बचाने का प्रयास ही किया है। पार्षद कुलबीर छाबड़ा का यह बयान कांग्रेस सरकार की विफलता की मौन स्वीकृति है। वरिष्ट पार्षद का बयान प्रदेश भाजपा उपाध्यक्ष मधुसूदन यादव द्वारा कांग्रेस सरकार पर लगाए गए आरोपों की प्रमाणिकता को सत्यापित करते हैं। कांग्रेसी पार्षद कुलबीर छाबड़ा के बयान में वरिष्ठ भाजपा नेता मधुसूदन यादव द्वारा कांग्रेस पार्टी पर लगाए गए विभिन्न आरोपों यथा किसानों को बोनस की राशि चार किस्तों में रुला रुला कर एवं एहसान जता जता कर देने के बारे में, उनके बारदाना एवं रकबे में कटौती करने के संबंध में, महंगी खाद बीज और वर्मी कंपोस्ट उपलब्ध कराने के बारे में , प्रधानमंत्री आवास के बारे में , घोषणा पत्र के अपूर्ण वादों के बारे में, हाफ बिजली बिल के आड़ में सबसे महंगी बिजली बेचने के आरोप पर, प्रदेश में बढ़ते अपराध, नशाखोरी, भ्रष्टाचार, अवैध शराब बिक्री, आरक्षण, कांग्रेस राज में फलते फूलते जूवा सट्टा के कारोबार , धर्मांतरण के विषयों पर चौतरफा घिरी भूपेश सरकार के बचाव में कोई भी बयान नहीं है ना ही इन आरोपों का खंडन है। उल्टे उनका यह बयान औचित्य हीन तर्कसंगत लीक से हटकर मुद्दे से भटकाने का प्रयास मात्र है । कांग्रेसी पार्षद छाबड़ा कांग्रेस के विफलताओं एवं भ्रष्टाचार को छुपाने के लिए भाजपा पर भ्रष्टाचार के आरोप लगाकर मुद्दे से भटकाने का प्रयास कर रही है और अपनी सरकार की जिम्मेदारियों और विफलताओं का जिम्मा लेने से बचने का प्रयास कर रही है। कुलबीर छाबड़ा कांग्रेस के वरिष्ठ नेता होते हुए भी स्वयं हर विधानसभा चुनाव से पहले अपने रिश्तेदार के चुनाव के प्रचार प्रसार की कमान संभालने अन्यत्र पलायन कर जाते हैं , जिसकी दबी जुबान से उनकी पार्टी के कार्यकर्ता ही विरोध और भर्त्सना करते शहर में घूमते रहते हैं, और कुलबीर अपनी पार्टी में वह सम्मान प्राप्त नहीं कर सके जो एक वरिष्ठ पार्टी कार्यकर्ता एवं पदाधिकारी को प्राप्त होती है। ऐसी परिस्थिति में जब उन्हें स्वयं की पार्टी से ही सम्मान प्राप्त नहीं होता है तो वह विपक्षी पार्टी से सम्मान प्राप्त करने की उम्मीद कैसे कर सकते हैं। कथित अनियमितता के समय आप निगम के पार्षद होते हुए भी इन भ्रष्टाचार को खुली आंखों से देख कर भी क्यों चुप रहे , और आज कई वर्षो बाद अचानक इन विषयों को उठाकर आप क्या साबित करना चाहते हैं यह विचारणीय प्रश्न है, और जनता की समझ से परे है। आपके द्वारा भाजपा पर पांच वर्ष पुराने भ्रष्टाचार का आरोप लगाकर पूर्व मुख्यमंत्री डॉ रमन सिंह, पूर्व सांसद अभिषेक सिंह एवं पूर्व सांसद एवं महापौर मधुसूदन यादव द्वारा राजनांदगांव के चहुमुखी विकास के लिए किए गए अभूतपूर्व विकास एवं निर्माण के विभिन्न कार्यों को झूठलाया नहीं जा सकता है, जो जनता के सामने प्रत्यक्ष दृष्टिगोचर है।