राजनांदगांव। छत्तीसगढ़ राज्य एड्स नियंत्रण समिति रायपुर के सहयोग से जनकल्याण सामाजिक संस्थान, राजनांदगांव द्वारा संचालित लिंक वर्कर स्कीम परियोजना के अंतर्गत परियोजना कार्यालय में छत्तीसगढ़ पीएलएचआईव्ही नेटवर्क (विहान) परियोजना के साथ समन्वय बैठक का आयोजन किया गया। सर्वप्रथम सभी के परिचय से कार्यक्रम का शुभारंभ किया गया। उपस्थित सभी प्रतिभागियों द्वारा नाम, पता, कार्यक्षेत्र व अनुभव की जानकारी प्रदान की गई।
कार्यक्रम सत्र का शुभारंभ करते हुए विहान परियोजना के कार्यक्रम समन्वयक विनोद लहरी के द्वारा विहान परियोजना के उद्देश्य पर विस्तार पूर्वक प्रकाश डाला गया। परियोजना एचआईव्ही संक्रमितों के लिए कार्य करती है, इसके अंतर्गत एचआईवी संक्रमित के साथ समाज में अनुकूल वातावरण निर्मित करना जिससे समाज में सामान्य व्यक्ति की तरह जीवन यापन कर सके, सामान्य व्यक्तियों को जीवन जीने का अधिकार है, उसी प्रकार एचआईवी संक्रमित व्यक्ति को समाज में अन्य व्यक्तियों की तरह समान रूप से जीने का अधिकार है। एचआईव्ही पॉजिटिव व्यक्तियों के लिए शासन के द्वारा विभिन्न प्रकार की शासकीय योजना संचालित की जा रही है, जैसे बस पास, नोनी सुरक्षा योजना, एचआईव्ही संक्रमित बच्चों के लिए छात्रवृत्ति योजना, श्रम कार्ड, राशन कार्ड योजना इत्यादि योजनाएं हैं, जिनका लाभ लिया जा सकता है। एचआईव्ही संक्रमितों के प्रति भेदभाव करना दंडनीय अपराध है, यदि कोई व्यक्ति किसी एचआईवी संक्रमित व्यक्ति के साथ भेदभाव करता है, तो उसे कारावास या आर्थिक धन की सजा हो सकती है। शासन के द्वारा एचआईव्ही एक्ट 2017 लाया गया है।
जनकल्याण सामाजिक संस्था के अध्यक्ष योगेंद्र प्रताप सिंह के द्वारा कहा गया कि समाज में हमें सभी के प्रति समान भाव वह व्यवहार रखना चाहिए, जिससे एचआईवी संक्रमित व्यक्ति के प्रति भेदभाव का व्यवहार न हो उनका हमेशा सहयोग व आत्म बल बढ़ाने हेतु उनका सहयोग करना चाहिए। सरकार की जो भी योजनाएं संचालित है, उनका लाभ गांव के अंतिम व्यक्ति तक पहुंचाना भी हमारा दायित्व है। इसे हमें निर्वहन करना चाहिए।
कार्यक्रम में विहान कार्यक्रम से विनोद लहरी, रेखा जायसवाल, लिंक वर्कर स्कीम परियोजना से जिला स्रोत समन्वयक जितेंद्र कुमार जंघेल, सुपरवाइजर राखी देवी साहू, रेवा साहू, टीएआईए परियोजना से कार्यक्रम प्रबंधक नागेश्वर मुंजारे, काउंसलर सविता सिंह, सीमा देवी देवांगन एवं समस्त लिंक वर्कर उपस्थित थे।

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