महासमुंद. प्रदेश के बागबाहरा में बिजली विभाग की लापरवाही से सैंकड़ों किसान खून के आंसू रोने को मजबूर हो गए हैं. बीते दो महीने से बिजली कटौती और लो वोल्टेज के चलते क्षेत्र के 19 हजार एकड़ खेतों में किसान सिंचाई नहीं कर पाए. इससे धान , गेंहू , उड़द , मूंग , तरबूज की फसलें पानी के अभाव में सूख कर बर्बाद हो गई. इससे न केवल किसानों को आर्थिक नुकसान पहुंचा है, बल्कि उनकी कड़ी मेहनत भी बेकार चली गई. किसानों का कहना कि बिजली विभाग ने उन्हें बर्बाद कर दिया.

बता दें, बागबाहरा में किसान रबी सीजन के समय लगभग 19 हजार एकड़ में धान , दलहन , तिलहन के साथ सब्जियों की फसल लगाते हैं. इस साल भी किसान बड़ी संख्या में रबी फसल ले रहे हैं, लेकिन सिंचाई के अभाव में खेतों की जमीन में दरारें पड़ चुकी हैं. कुछ फसलोंं की ग्रोथ रुक गई है, तो कुछ फसलें सूख चुकी हैं.

विरोध प्रदर्शन के बाद भी नहीं हुआ सुधार
बागबाहरा क्षेत्र में 2 महीने से रात-दिन लो वोल्टेज के चलते बड़ी लाइटें भी मोमबत्ती से कम रोशनी दे रही हैं. परेशान किसान सैकड़ों की संख्या में बिजली विभाग के खिलाफ धरना-प्रदर्शन और घेराव भी कर चुके हैं. अब निराश हो चुके किसानोंं का कहना है कि बिजली विभाग ने हमें बर्बाद कर दिया है.
बिजली विभाग के अधिकारी ने दिया आश्वासन
शिकायतों के बावजूद बिजली विभाग सुधरने का नाम नहीं ले रहा है. अब आला अधिकारी ने व्यवस्था में सुधार का भरोसा दिलाया है.
वहीं मजबूर किसानों का कहना है कि अब बिजली विभाग अपनी व्यवस्था पूरी तरह सुधार भी ले, तब भी ये खत्म हो चुकी फसल वापस नहीं आ सकती और ना ही किसानों की मेंहनत और बेकार में गया पैसा वापिस हो सकता है.