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मध्य प्रदेश

राजधानी भोपाल में कोचिंग संचालकों को प्रशासन का अल्टीमेटम, एक महीने में दूर करो अनियमितताएं

भोपाल

भोपाल में भी कोचिंग संचालकों को एक महीने का समय दिया गया है, उन्हे प्रशासन ने सख्त निर्देश दिए है कि वह एक महीने में कोचिंग में कमियों को दूर कर निर्देशों का पालन करें, दरअसल यह पूरी कवायद दिल्ली में बेसमेंट में चल रही IAS एकेडमी में पानी भरने से तीन स्टूडेंट्स की मौत के बाद शुरू हुई है।

मध्यप्रदेश में कोचिंग सेंटर,अस्पताल, रेस्टोरेंट संचालकों  पर कार्रवाई

मध्यप्रदेश के कई बड़े शहरों में बेसमेंट में चल रही कोचिंग कलासेस, अस्पताल, रेस्टोरेंट पर कार्रवाई की गई है। वही भोपाल में भी बेसमेंट में क्लास लगाए जाने पर 7 कोचिंग पर कार्रवाई भी हो चुकी है। शनिवार को एमपी नगर एसडीएम आशुतोष शर्मा ने सभी कोचिंग संचालकों की मीटिंग भी ली। उन्हें पार्किंग और फायर सेफ्टी को लेकर 1 महीने की मोहलत दी गई।

मीटिंग में मौजूद रहें कई विभागों के अधिकारी

कोचिंग संचालकों को इस बैठक में अनिवार्य रूप से उपस्थित रहने के निर्देश दिए गए थे, जिसके बाद लगभग भोपाल के सभी बड़े छोटे कोचिंग संचालक इसमें शामिल हुए, मीटिंग में पुलिस और प्रशासन के अफसरों के साथ इलेक्ट्रिकल सेफ्टी, निगम की बिल्डिंग परमिशन शाखा के जिम्मेदार भी मौजूद रहे। एमपी नगर एसडीएम आशुतोष शर्मा ने संचालकों को निर्देश देते हुए बताया कि कोचिंग इंस्टीट्यूट में एक महीने में सभी खामियों की पूर्ति करें, एक महीने के बाद फिर से कोचिंग सेंटरों पर जाकर जांच की जाएगी। यदि खामियां दूर नहीं होती है तो सील करने की कार्रवाई होगी।

दिशा निर्देश जारी
कोचिंग के हर फ्लोर पर एक व्यक्ति को तैनात करना होगा, जो आपात काल स्थिति से निपटने के लिए गाइड कर सकेगा। हर कोचिंग में ऑडिट का डिस्प्ले बोर्ड लगेगा। ताकि, पेरेंट्स को पता चले कि उनका बच्चा यहां कितना सुरक्षित रहेगा। जोन-1 स्थित मल्टी लेवल पार्किंग में टू-व्हीलर और फोर-व्हीलर्स खड़े करने होंगे। यहां से पैदल जोन-2 स्थित कोचिंग पर आएंगे। फायर ऑडिट जरूरी होगा। बेसमेंट में भी पार्किंग व्यवस्था कराई जाएगी। यहां पर किसी भी हाल में क्लास नहीं लगेगी।

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