कोरबा जिलाछत्तीसगढ़

CG : आज मनाया जाएगा विश्व सिकल सेल दिवस

कोरबा प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के समृद्ध और समावेशी भारत की कल्पना को साकार करते हुए देश को सिकल सेल एनीमिया मुक्त करने के लिए सिकल सेल एनीमिया उन्मूलन मिशन प्रारंभ किया गया है। जिसके अंतर्गत 0 से 40 वर्ष के आयु वर्ग के सभी व्यक्तियों की सिकल सेल स्क्रीनिंग कर पोर्टल में एंट्री की जा रही है। प्रतिवर्ष की भांति 19 जून 2024 को विश्व सिकल सेल दिवस मनाया जाएगा। विष्व स्वास्थ्य संगठन द्वारा इस वर्ष की थीम प्रगति के माध्यम से आषाः विष्व स्तर पर सिकल सेल देख-भाल को आगे बढ़ाना घोषित किया गया है। इस अवसर पर जिले के समस्त स्वास्थ्य केन्द्रो में सिकल सेल संबंधित जनजागरूकता, प्रचार-प्रसार, काउंसिलिंग तथा सिकल सेल जेनेटिक कार्ड वितरण किया जाएगा। इस संबंध में संबंधित संस्थाओं को पत्र जारी किए गए हैं।

मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी डॉ.एस.एन.केशरी ने सिकल सेल उन्मूलन मिशन कार्यक्रम से संबंघित जानकारी देते हुए कहा कि किसी बीमारी का प्रभाव अकेले रोगी पर नहीं बल्कि पूरे परिवार पर पड़ता है। सिकल सेल बीमारी के बारे में शिक्षा को बढ़ावा देने के साथ-साथ शीध्र पता लगाने और उपचार सुनिशचित करने के लिए स्क्रीनिंग और जागरूकता दोनों रणनीति अपनाई जा रही है। उन्होने बताया कि सिकल सेल (एस.सी.डी.) वंशानुगत रक्त विकार है जो लाल रक्त कोशिकाओं को प्रभावित करता है।  स्वस्थ लाल रक्त् कोशिकाए आमतौर पर गोल और लचीली होती है जिससे वे रक्त वाहिकाओं के माध्यम से आसानी से आगे बढ़ सकती हैं और पूरे शरीर में ऑक्सीजन पहुँचाती है। सिकल सेल एनीमिया में कुछ लाल रक्त कोशिकाएं दरांती या अर्धचन्द्राकार आकार की होती हैं । ये सिकल कोशिकाएं कठोर और चिपचिपी हो जाती हैं, जो रक्त प्रवाह को धीमा या अवरुद्ध कर सकती हैं। इस कारण असहनीय दर्द, अंग क्षति और कई स्वास्थ्य समस्याएं हो जाती  हैं।  सिकल सेल एनीमिया के लक्षण आमतौर पर 6 महीने की उम्र के आसपास दिखाई देते हैं। ये हर व्यक्ति में अलग- अलग होते है और समय के साथ बदल सकते हैं। उन्होंने इसके लक्षण के संबंध में बताया कि किसी बच्चे या गर्भवती महिला में एनीमिया(खून की कमी) से आंखों में पीलापन के साथ-साथ बदन मे तेज दर्द, कोहनी या घुटनों में सूजन व दर्द, बार-बार बुखार आना, बार -बार संक्रमण होना, थकावट, भूख ना लगना तथा उँचाई सामान्य से कम होना हो सकते हैं।

   सीएमएचओ ने बताया कि समस्त स्वास्थ्य कर्मचारी, ऑंगनबाड़ी कार्यकर्ता तथा मितानिनो को निर्देशित किया गया है कि वे अपने कार्यक्षेत्र में सिकल सेल एनिमिया के संबंध में व्यापक प्रचार प्रसार करें तथा लोगों को बताएं कि शादी से पहले वर-वधु का सिकलिग जांच/ सिकल सेल टेस्ट कराना बहुत जरूरी है जिससे इस खतरनाक बिमारी से खुद को बचाया जाए तथा होने वाली संतान को इससे दूर रखा जा सके।

   कलेक्टर अजीत वसंत तथा मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी डॉ.एस.एन.केशरी ने जिले के नागरिकों से आग्रह किया है कि सिकल सेल के लक्षण ग्रस्त व्यक्ति अपने नजदीकी स्वास्थ्य केन्द्र जाकर सिकल सेल की निःशुल्क जांच अवश्य कराएं। 0 से 40 वर्ष के उम्र के सभी लोग सिकल सेल की निशुल्क जांच करा सकते हैं। इसका उपचार सभी शासकीय स्वास्थ्य केन्द्रों में उपलब्ध है।

advertisement

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button