रायपुर : चेंबर ऑफ कॉमर्स की लड़ाई चरम सीमा पर पहुंची, पूर्व अध्यक्ष सुंदरानी जा सकते है कोर्ट
रायपुर,चेंबर ऑफ कॉमर्स में जब से जय व्यापार पैनल ने कब्जा किया है, अमर परवानी के अध्यक्ष बनने के पश्चात पुराना ग्रुप श्रीचंद सुंदरानी के व्यापारी एकता पेनल से कटुता बड़ी है, इसके पीछे मुख्य वजह यह है कि नए अध्यक्ष ने पुरानी कार्यकारिणी के साथ शुरू से ही सामंजस्य बनाने की पहल नहीं की, जिसके परिणाम स्वरुप व्यापारियों में दो फाड़ हो गया।
श्रीचंद सुंदरानी ने विगत 40 वर्षों तक चेंबर ऑफ कॉमर्स की राजनीतिक की थी, परंतु उनके मार्गदर्शन में आगे बढ़ने वाले अमर परवानी ने अध्यक्ष बनने के बाद जिसने उसे आगे बढ़ाया उसका सम्मान नहीं किया और तो और अध्यक्ष बनने के बाद पुराने सभी लोगों को दरकिनार कर दिया, इसके पूर्व अध्यक्ष द्वारा पुरानी कार्यकारिणी एवं नए लोगों के साथ सामंजस्य से कर अपनी टीम बनाई जाती थी । परंतु अमर परवानी ने एकला चलो की राह अपनाई और इस दौरान कोई भी बड़ा व्यापारी हित में कार्य नहीं किया यहां तक की गोल बाजार कपड़ा मार्केट एवं अन्य कई क्षेत्रों की समस्याओं पर उन्होंने व्यापारियों को उल्टा जवाब दिया । कुल मिलाकर अमर परवानी पर व्यापारियों का भरोसा टूटा और दो फाड़ की स्थिति में चेंबर ऑफ कॉमर्स की मजबूती पर गहरा असर पड़ा, यहां तक की विपक्ष में रही भाजपा द्वारा बंद के आवाहन को भी चैंबर ने असमजस की स्थिति में समर्थन नहीं दिया। वर्तमान स्थिति में चेंबर ऑफ कॉमर्स से पुराने सभी व्यापारी नाराज हैं ।
वर्तमान में ब्रेकिंग न्यूज़ यह है कि अमर परवानी द्वारा चेंबर के संविधान के विपरीत जाकर विशेष बैठक बुलाने को पूर्व अध्यक्ष श्रीचंद सुंदरानी ने आपत्ति व्यक्त करते हुए चेंबर ऑफ कॉमर्स के अध्यक्ष को पत्र जारी किया है और कहां है कि इसका उत्तर नहीं देने पर वह न्यायालय की शरण लेंगे अब देखना यह है कि चेंबर ऑफ कॉमर्स में व्यापारियों में हुई दो फाड़ की स्थिति कहां तक पहुंचती है?
जब इस मामले में अध्यक्ष अमर परवानी से उनका पक्ष जानने के लिए संपर्क करने का प्रयास किया गया किन्तु उनसे संपर्क नहीं हो पाया.